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पुत्र की कुण्डली में पिता के लिए राजयोग देखना, भाग-1.।।



पुत्र की कुण्डली में पिता के लिए राजयोग देखना, भाग-1.।। Putra Ki Kundali Se Pita Ke Liye Rajyoga, Part-1.

हैल्लो फ्रेण्ड्सzzz. किसी भी जातक की कुण्डली देखकर आप उसके पिता के जीवन में राजयोग आएगा अथवा नहीं ? अगर आएगा तो कब आएगा ? कैसे जानें ?

इसके लिए आपको इन निम्नांकित सूत्रों का गहरा अध्ययन करना पड़ेगा । तो आइये इन सूत्रों को आप सभी को बताऊँ । ये सूत्र आपको बृहत्पाराशरहोराशास्त्रम् ।। अथ भाग्यभावफलाध्यायः ।।२०।। भाग्यस्थानगते जीवे यदीशे केन्द्रसंस्थिते ।।
लग्नेशे बलसंयुक्ते बहुभाग्ययुतो भवेत् ।।२।।

अर्थ:- नवम स्थान में गुरु हो, नवमेश केन्द्र में हो, ऐसे में अगर लग्नेश बलवान हो तो जातक का पिता बड़ा भाग्यवान होता है ।। भाग्येशे बलसंयुक्ते भाग्ये भृगुसमन्विते ।।
लग्नात् केन्द्रगते जीवे पिता भाग्यसमन्वितः ।।३।।

अर्थ:- भाग्येश बलवान हो, भाग्य स्थान में शुक्र हो, लग्न से केन्द्र में गुरु हो तो जातक का पिता बड़ा भाग्यवान होता है ।। वास्तु विजिटिंग के लिये तथा अपनी कुण्डली दिखाकर उचित सलाह लेने एवं अपनी कुण्डली बनवाने अथवा किसी विशिष्ट मनोकामना की पूर्ति के लिए संपर्क करें ।।

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।।। नारायण नारायण ।।।

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