कुण्डली में वक्री मंगल के शुभाशुभ फल ।। Vakri Mangal Ka Shubhashubh fal.
हैल्लो फ्रेण्ड्सzzz,
मित्रों, आज हम बात करेंगे जन्म कुण्डली में मंगल ग्रह यदि वक्री हो तो क्या शुभ या अशुभ फल देता है । मूलतः जन्म कुण्डली में यदि मंगल ग्रह वक्री हो तो उसके शुभ या अशुभ फल देने के स्वभाव में कोई अंतर नहीं आता ।।
अर्थात किसी कि कुण्डली में सामान्य रूप से शुभ फल देने वाला मंगल वक्री होने की स्थिति में भी उस जातक को शुभ फल ही प्रदान करता है । साथ ही किसी कुण्डली में सामान्य रूप से अशुभ फल देने वाला मंगल वक्री होने पर भी उस जातक को अशुभ फल ही देता है ।।
किन्तु वक्री होने से मंगल के व्यवहार में कुछ बदलाव अवश्य आ जाता है । वक्री मंगल आम तौर पर जातक को सामान्य से अधिक शारीरिक तथा मानसिक उर्जा प्रदान कर देते हैं जिसका सही दिशा में उपयोग करने में आम तौर पर जातक सक्षम नहीं हो पाता ।।
इसलिए ऐसे जातक इस अतिरिक्त उर्जा को लेकर परेशान रहता है । कई बार यह उर्जा उनके अचानक ही प्रकट हो जाने वाले गुस्से अथवा चिढ़चिढ़ेपन के रूप में देखने के रूप में बाहर निकलती है ।।
इस उर्जा के कारण ऐसे लोग अपने जीवन में कई बार अचानक ही बड़े अप्रत्याशित निर्णय ले लेते हैं । जिससे इनके स्वभाव के बारे में कोई ठोस धारणा बना पाना कठिन हो जाता है ।।
महिलाओं की जन्म कुंडली में स्थित वक्री मंगल आम तौर पर उन्हें पुरुषों के गुण प्रदान कर देता है । ऐसे में ऐसी महिलाएं पुरुषों के कार्य क्षेत्रों में काम करने तथा पुरुषों को सफलता पूर्वक नियत्रित करने में सक्षम हो जाती हैं ।।
इन बदलावों के अतिरिक्त आम तौर पर वक्री मंगल अपने सामान्य स्वभाव की तरह ही आचरण करते हैं । यदि आप मंगल के दूषित होने के वजह से मंगल का दु:ष्प्रभाव झेल रहें हैं तो हमारे वेबसाइट पर मंगल के अशुभ प्रभावों के उपाय को देखें और करें ।।
हैल्लो फ्रेण्ड्सzzz,
मित्रों, आज हम बात करेंगे जन्म कुण्डली में मंगल ग्रह यदि वक्री हो तो क्या शुभ या अशुभ फल देता है । मूलतः जन्म कुण्डली में यदि मंगल ग्रह वक्री हो तो उसके शुभ या अशुभ फल देने के स्वभाव में कोई अंतर नहीं आता ।।
अर्थात किसी कि कुण्डली में सामान्य रूप से शुभ फल देने वाला मंगल वक्री होने की स्थिति में भी उस जातक को शुभ फल ही प्रदान करता है । साथ ही किसी कुण्डली में सामान्य रूप से अशुभ फल देने वाला मंगल वक्री होने पर भी उस जातक को अशुभ फल ही देता है ।।
किन्तु वक्री होने से मंगल के व्यवहार में कुछ बदलाव अवश्य आ जाता है । वक्री मंगल आम तौर पर जातक को सामान्य से अधिक शारीरिक तथा मानसिक उर्जा प्रदान कर देते हैं जिसका सही दिशा में उपयोग करने में आम तौर पर जातक सक्षम नहीं हो पाता ।।
इसलिए ऐसे जातक इस अतिरिक्त उर्जा को लेकर परेशान रहता है । कई बार यह उर्जा उनके अचानक ही प्रकट हो जाने वाले गुस्से अथवा चिढ़चिढ़ेपन के रूप में देखने के रूप में बाहर निकलती है ।।
इस उर्जा के कारण ऐसे लोग अपने जीवन में कई बार अचानक ही बड़े अप्रत्याशित निर्णय ले लेते हैं । जिससे इनके स्वभाव के बारे में कोई ठोस धारणा बना पाना कठिन हो जाता है ।।
महिलाओं की जन्म कुंडली में स्थित वक्री मंगल आम तौर पर उन्हें पुरुषों के गुण प्रदान कर देता है । ऐसे में ऐसी महिलाएं पुरुषों के कार्य क्षेत्रों में काम करने तथा पुरुषों को सफलता पूर्वक नियत्रित करने में सक्षम हो जाती हैं ।।
इन बदलावों के अतिरिक्त आम तौर पर वक्री मंगल अपने सामान्य स्वभाव की तरह ही आचरण करते हैं । यदि आप मंगल के दूषित होने के वजह से मंगल का दु:ष्प्रभाव झेल रहें हैं तो हमारे वेबसाइट पर मंगल के अशुभ प्रभावों के उपाय को देखें और करें ।।
ज्योतिष के सभी पहलू पर विस्तृत समझाकर बताया गया बहुत सा हमारा विडियो हमारे YouTube के चैनल पर देखें । इस लिंक पर क्लिक करके हमारे सभी विडियोज को देख सकते हैं - Click Here & Watch My YouTube Channel.
इस तरह की अन्य बहुत सारी जानकारियों, ज्योतिष के बहुत से लेख, टिप्स & ट्रिक्स पढने के लिये हमारे ब्लॉग एवं वेबसाइट पर जायें तथा हमारे फेसबुक पेज को अवश्य लाइक करें, प्लीज - My facebook Page.
वास्तु विजिटिंग के लिये तथा अपनी कुण्डली दिखाकर उचित सलाह लेने एवं अपनी कुण्डली बनवाने अथवा किसी विशिष्ट मनोकामना की पूर्ति के लिए संपर्क करें ।।
किसी भी तरह के पूजा-पाठ, विधी-विधान, ग्रह दोष शान्ति आदि के लिए तथा बड़े से बड़े अनुष्ठान हेतु योग्य एवं विद्वान् ब्राह्मण हमारे यहाँ उपलब्ध हैं ।।
संपर्क करें:- बालाजी ज्योतिष केन्द्र, गायत्री मंदिर के बाजु में, मेन रोड़, मन्दिर फलिया, आमली, सिलवासा ।।
0 Comments